रायपुर, 27 जुलाई 2025 . छत्तीसगढ़ में लगातार सामने आ रही धर्मांतरण की घटनाओं के बीच राज्य सरकार अब इस मुद्दे पर सख्त कदम उठाने जा रही है। मुख्यमंत्री विष्णुदेव साय ने रविवार को शदाणी दरबार में आयोजित हिंदू राष्ट्रीय अधिवेशन के दौरान बड़ा ऐलान करते हुए बताया कि धर्मांतरण पर नया कानून बनाया जा रहा है, जिसका ड्राफ्ट तैयार कर लिया गया है। यह विधेयक विधानसभा के आगामी सत्र में प्रस्तुत किया जाएगा।
मुख्यमंत्री साय ने कहा, “राज्य में किसी भी प्रकार का जबरन या छलपूर्वक धर्मांतरण बर्दाश्त नहीं किया जाएगा। हम कानून बनाकर इसे रोकेंगे और दोषियों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।”
गायों की देखरेख के लिए कदम
सीएम साय ने अधिवेशन में गायों की दुर्दशा पर भी चिंता जताई और कहा कि “अब राज्य की सड़कों पर कोई गाय या मवेशी नजर नहीं आना चाहिए।” उन्होंने बताया कि राज्य की सवा 100 पंजीकृत गौशालाओं को 5 लाख से बढ़ाकर 25 लाख रुपये तक की सहायता राशि दी जा रही है। नगरीय क्षेत्रों में भी गौशालाएं विकसित की जा रही हैं।
साय ने कहा, “जब गाय दूध देना बंद कर देती है तो उसे सड़कों पर छोड़ दिया जाता है, यह स्थिति हिंदू समाज के लिए चिंता का विषय है।”
जशपुर और ‘घर वापसी’ का जिक्र
सीएम ने जशपुर का उल्लेख करते हुए कहा कि “वहां एशिया का दूसरा सबसे बड़ा चर्च है, लेकिन स्व. दिलीप सिंह जूदेव और उनके पुत्र प्रबल प्रताप जूदेव ने ‘घर वापसी’ आंदोलन को मजबूत किया है।” उन्होंने बताया कि कल्याण आश्रम के कार्यकर्ता गांव-गांव जाकर हिंदू धर्म के प्रचार-प्रसार में लगे हुए हैं।
3 अगस्त को निकलेगी विशाल पदयात्रा
अधिवेशन को संबोधित करते हुए महाराज राम बालक दास ने एलान किया कि 3 अगस्त को महादेव घाट से राम मंदिर रायपुर तक विशाल पदयात्रा निकाली जाएगी, जिसमें बागेश्वर धाम के पीठाधीश्वर धीरेंद्र कृष्ण शास्त्री के शामिल होने की संभावना है।
उन्होंने कहा कि “छत्तीसगढ़ से हिंदू राष्ट्र का उद्घोष हो रहा है और इसे 2025 तक साकार करना हमारा लक्ष्य है।” उन्होंने लव जिहाद और गौ तस्करी पर भी कठोर कानून की मांग रखी।

